सूची में नाम, अभिलेखों में दर्ज नहीं मिले छात्र
कन्नौज, जागरण संवाददाता : केंद्र सरकार से मदरसों में अध्ययनरत छात्र-छात्राओं को दी जाने वाली छात्रवृत्ति व शुल्क प्रतिपूर्ति में गड़बडी की जड़े काफी गहरी है। मदरसा संचालकों ने छात्रवृत्ति का अधिक लाभ पाने के लिए पंजीकरण के सापेक्ष बच्चों की संख्या अधिक दिखाकर अफसरों को सूची उपलब्ध करा दी। अफसरों द्वारा जब इनका सत्यापन किया गया तो यह छात्र अभिलेखों में दर्ज ही नहीं मिले। अफसरों द्वारा इन संदिग्ध छात्रों के बारे में पूछने पर वह कोई उत्तर नहीं दे सके। यह सारा खेल विभागीय अफसरों व मदरसा संचालकों की मिलीभगत से हो रहा है।
अल्पसंख्यक कल्याण विभाग के अनुसार वर्तमान समय में जिले में 120 मदरसा संचालित है। वित्तीय वर्ष 2015-16 में इन सभी मदरसा संचालकों ने अध्ययनरत 23064 छात्र-छात्राओं के लिए छात्रवृत्ति व शुल्क प्रतिपूर्ति की मांग की थी। इसमें कक्षा एक से 10 तक के छात्र-छात्रा शामिल थे। साथ ही मदरसा संचालकों ने इन छात्र-छात्राओं की सूची अल्पसंख्यक कल्याण विभाग में भेजी थी। केंद्र सरकार से इन छात्र-छात्राओं को छात्रवृत्ति देने के लिए 4,81,27,805 रुपए की धनराशि स्वीकृत हुई। जिला प्रशासन के निर्देश पर जिला अस्तरीय अफसरों द्वारा सत्यापन किया गया। इसमें 23064 छात्र-छात्राओं में 2474 छात्र संदिग्ध पाए गए। इसमें कई छात्र मदरसा में अध्ययनरत ही नहीं थे। इसके अलावा कई छात्राओं के अभिलेख फर्जी पाए गए। अफसरों को सत्यापन के समय कई छात्र कहीं और के मिले। इसका खुलासा अफसरों ने अपनी सत्यापन रिपोर्ट में किया है।
कई मदरसों में फर्जी पाए गए छात्र
तत्कालीन जिला कृषि अधिकारी अभिनंदन ¨सह यादव ने सत्यापन के दौरान मदरसा तालीब हुसैन मेमोरियल पब्लिक स्कूल बिल्लोचीपुरा को देखा। इस दौरान सूची में दर्शाए गए छात्र पंजीकृत नहीं पाए गए। प्रबंधक से इस बारे में जब पूछा गया तो उन्होंने कहा कि इस सूची में दिए गए छात्र उनके मदरसे के नहीं है। इसी तरह मुख्य मत्स्य अधिकारी जीसी यादव को मदरसा एएच इस्लामिया एजूकेशन सेंटर में सूची में अंकित कुछ छात्रों में 14 बच्चे अभिलेखों में दर्ज ही नहीं मिले। आरईडी के अवर अभियंता वीएन दुबे को फुंदन शिक्षा संस्थान में सूची में दर्शाए गए छात्र शिक्षा संस्थान में नहीं मिले। जिला उद्यान अधिकारी मुन्ना यादव को काशिफ माइनरिटी एजूकेशन सेंटर डुंडवाबुजुर्ग में कई छात्र विद्यालयों के अभिलेखों में दर्ज ही नहीं मिले। इसके अलावा अफसरों को जिले के कई मदरसों में गड़बड़ी उजागर हुई है। इसकी विभागीय अफसरों को रिपोर्ट दे दी गई। इसके बाद भी इन मदरसा संचालकों या फर्जी छात्र संख्या दर्शाने पर कोई कार्रवाई नहीं की गई।
अफसर बोले
शीघ्र ही छात्रवृत्ति पर गड़बड़ी करने वाले मदरसों का भौतिक सत्यापन किया जाएगा। इसके अलावा बैंकों के माध्यम से छात्रों को भेजी जाने वाली छात्रवृत्ति की पड़ताल की जाएगी। जांच में गड़बड़ी करने वाले मदरसा संचालको व दोषी कर्मचारी पर कार्रवाई होगी।
-पवन कुमार ¨सह, जिला अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी।