इलाहाबाद : शिक्षक बहिष्कार पर, कौन जांचेगा कापी, उत्तर पुस्तिकाओं के मूल्यांकन का बकाया न मिलने से शिक्षकों में है नाराजगी
इलाहाबाद : उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा परिषद की हाईस्कूल और इंटरमीडिएट परीक्षा की उत्तर पुस्तिकाओं के मूल्यांकन की तैयारी चल रही है। प्रक्रिया 30 मार्च से शुरू होनी है, शिक्षा विभाग जल्द से जल्द मूल्यांकन कराकर परिणाम घोषित करने की तैयारी में है। परंतु बकाया न मिलने से नाराज शिक्षक संगठनों के मूल्यांकन कार्य के बहिष्कार करने से स्थिति खराब होती नजर आ रही है।
यूपी बोर्ड-2015 की हाईस्कूल, इंटरमीडिएट परीक्षा की कापी जांचने के लिए प्रदेश भर में तीन सौ के लगभग केंद्र बनाए गए थे। जहां पर लगभग 1.30 लाख परीक्षक प्रदेशभर में लगाए गए। इलाहाबाद में इनकी संख्या पांच हजार से अधिक थी। स्थिति यह है कि अभी तक प्रदेश के तकरीबन 40 हजार शिक्षकों को कापी जांचने का पैसा नहीं मिला। जबकि इलाहाबाद में 1712 शिक्षकों का पैसा बकाया है। इसके विरोध में उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षक संघ चेतनारायण व ठकुराई गुट ने मूल्यांकन का बहिष्कार कर दिया है। शिक्षकों के सबसे बड़े संगठन शर्मा गुट ने अभी बहिष्कार की घोषणा तो नहीं की, परंतु कापी जांचेंगे यह स्थिति भी स्पष्ट नहीं है।
माशिसं ‘चेतनारायण गुट’ के उपाध्यक्ष राम सेवक त्रिपाठी व मंडलीय अध्यक्ष मनोज सिंह का कहना है कि मुख्यमंत्री ने पिछले साल शिक्षकों से जो वादा किया था उसमें अधिकतर अधर में है। ऐसे में कापी जांचने का सवाल ही नहीं उठता। जबकि ठकुराई गुट के प्रदेश उपाध्यक्ष मुहर्रम अली ने कहा कि बकाया पैसा मिलने के बाद ही कापियां जचेंगी। जबकि माध्यमिक शिक्षक संघ ‘शर्मा गुट’ के प्रांतीय सदस्य डॉ. शैलेश पांडेय का कहना है कि मूल्यांकन तिथि से पहले 28 मार्च को लखनऊ स्थित शिक्षा निदेशालय पर संगठन का धरना है। मूल्यांकन को लेकर उसी में अंतिम निर्णय होगा।
बोर्ड परीक्षा की कापी जांचने वाले शिक्षकों को जल्द पैसा मिले उसके लिए प्रयासरत हूं। किसी शिक्षक का अधिकार नहीं मारा जाएगा, उसका भरोसा दिलाता हूं।
-सुरेश त्रिपाठी, शिक्षक विधायक
शिक्षकों को बकाया पारिश्रमिक दिलाने की कार्रवाई चल रही है। जल्द ही सबको पैसा मिल जाएगा। अगर कोई शिक्षक नाराज हैं तो हम उन्हें मना लेंगे।
- कोमल यादव, जिला विद्यालय निरीक्षक।