एटा : अवकाश के दिनों में मिड डे मील शिक्षकों का शोषण
जागरण संवाददाता, एटा: अवकाश के दिनों में मिड डे मील बनवाने की जिम्मेदारी शिक्षकों पर डाले जाने से शिक्षक संगठनों में आक्रोश है। शिक्षक संगठनों की हुई बैठकों में इसे शिक्षकों का शोषण करार देते हुए मिड डे मील का बहिष्कार कर दिया।
उत्तर प्रदेशीय जूनियर हाईस्कूल शिक्षक संघ की बैठक में ग्रीष्मावकाश में मध्याहन भोजन देने के सरकारी फरमान को तुगलकी फरमान की संज्ञा दी गई।
जिलाध्यक्ष देवेंद्र ¨सह यादव ने इसे शिक्षकों का शोषण करार दिया। उन्होंने कहा कि जब शिक्षा अधिकार अधिनियम में यह साफ है कि शिक्षकों से गैर शैक्षणिक कार्य नहीं लिया जा सकता तो इसके बावजूद शासन और प्रशासन अपनी मनमानी कर रहे है। बैठक में महामंत्री राजीव वर्मा ने इस प्रक्रिया को ग्रीष्मावकाश की सुविधा को छीनने की सरकारी कोशिश बताया।
बैठक में शिक्षकों ने ग्रीष्मावकाश में मध्यान्ह भोजन प्रक्रिया का विरोध किया। बैठक में ब्लॉक अध्यक्ष अवागढ़ रवींद्र उपाध्याय, दुर्योधन ¨सह, आशीष कुमार, विक्रम वर्मा, योगेश कुमार, मनीष दुबे, पूनम ¨सह, रामपाल ¨सह, रनवीर यादव आदि मौजूद थे।
वहीं होलीगेट पर हुई प्राथमिक शिक्षक संघ की बैठक में बोलते हुए जिलाध्यक्ष लोकपाल ¨सह यादव ने भी अवकाश के दिनों में मध्यान्ह भोजन देने के सरकारी आदेश का विरोध करने का ऐलान किया।
बैठक में प्रांतीय नेतृत्व के निर्देश पर सोमवार को सुबह 10 जिलाधिकारी और बेसिक शिक्षा अधिकारी को ज्ञापन देने की प्रक्रिया पर विचार किया गया। इस मौके पर ब्लॉक अध्यक्ष निधौली सुशील यादव, ब्लाक अध्यक्ष मारहरा ज्ञानेंद्रपाल ¨सह, ओमेंद्र ¨सह चौहान, ललित यादव, नेम ¨सह, मनोज यादव, वीरेद्र ¨सह बाबा, विवेक भारद्वाज, विवेक यादव, शैलेश शर्मा, सुशील तिवारी, यतेंद्र यादव, सतेंद्र, लोकेंद्र यादव आदि शिक्षक मौजूद थे।