कानपुर : परिषदीय स्कूलों में बदले जाएंगे निष्क्रिय अग्निशमन यंत्र, देश के दक्षिण में कुंबाकोनम स्थित एक मिडिल स्कूल में हुए अग्निकाण्ड के बाद दायर रिट पर सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश में स्कूलों की सुरक्षा के लिए दिशा निर्देश दिए
कानपुर वरिष्ठ संवाददाता । देश के दक्षिण में कुंबाकोनम स्थित एक मिडिल स्कूल में हुए अग्निकाण्ड के बाद दायर रिट पर सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश में स्कूलों की सुरक्षा के लिए दिशा निर्देश दिए हैं। इसी आधार पर अब परिषदीय विद्यालयों में अग्निशमन यंत्रों की एक बार फिर पड़ताल शुरू की गई है। परिषदीय विद्यालयों में अग्निशमन यंत्र तो हैं लेकिन ज्यादातर में निष्क्रिय हैं।
वर्ष 2009 में परिषदीय विद्यालयों में न्यूनतम दो अग्निशमन यंत्र और बाल्टी आदि की व्यवस्था कराई गई थी। इसके लिए विभाग की ओर से प्रति स्कूल 3900 रुपए खर्च किए गए थे। तब 28 सौ रुपए के दो अग्निशमन यंत्र और शेष में बाल्टी, बाल्टी स्टैण्ड और मजदूरी आदि शामिल थी।
निष्क्रिय हो गए यंत्र : परिषदीय विद्यालयों में अभी भी अग्निशमन यंत्र तो हैं लेकिन यह निष्क्रिय हो गए हैं। राज्य परियोजना निदेशक जीएस प्रियदर्शी ने बेसिक शिक्षा अधिकारी से इसका पूरा ब्योरा मांगा है। अब जहां भी अग्निशमन यंत्र नहीं हैं उन्हें इसे उपलब्ध कराया जाएगा और जहां हैं उसे सक्रिय कराया जाएगा।
नियमित जांच नहीं होती : स्कूलों में रखाए गए अग्निशमन यंत्रों की नियमित जांच नहीं हो पाती है। ऐसे में महंगे अग्निशमन यंत्र बेकार हो जाते हैं। अब इसकी जांच के लिए टीमें लगाई जा रही हैं।
सीडीओ में बैठक आज : सीडीओ ने शनिवार को सभी खण्ड शिक्षा अधिकारियों की बैठक बुलाई है। इसमें स्कूलों के अन्दर बिजली व्यवस्था कराना, चुनाव को देखते हुए रैंप तैयार कराना और पानी आदि की व्यवस्था पर चर्चा होनी है।