कानपुर : सीटीईटी की तर्ज पर प्रिंसिपल बनने को अब पीईटी, कोई भी शिक्षक दे सकेगा परीक्षा
कानपुर : सीबीएसई स्कूलों में अब हर कोई प्रिंसिपल नहीं बन पाएगा। इसके लिए उसे प्रिंसिपल पात्रता परीक्षा (पीईटी) उत्तीर्ण करना होगा। यह परीक्षा सीबीएसई स्वयं कराएगा।
सीबीएसई केंद्रीय शिक्षक पात्रता परीक्षा (सीटीईटी) कराता है। इसे उत्तीर्ण करने वाले ही केंद्रीय प्राथमिक और उच्च प्राथमिक विद्यालयों में शिक्षक बन सकते हैं। भले ही किसी के पास शिक्षक बनने के लिए सभी योग्यताएं हों और मेरिट में शीर्ष पर हो लेकिन पात्रता परीक्षा के बिना शिक्षक नहीं बन सकता।
कोई भी शिक्षक दे सकेगा परीक्षा: सीबीएसई स्कूलों में पढ़ाने वाला कोई भी शिक्षक जो योग्यता पूरा करता है वह पीईटी में बैठ सकेगा। इसके नियम सीटीईटी की तर्ज पर बनाए जाएंगे। यदि कोई शिक्षक पीईटी उत्तीर्ण कर लेता है तो वह किसी भी सीबीएसई के स्कूल में प्रिंसिपल बनने के लिए आवेदन कर सकेगा। अब सामान्य तौर पर कोई भी शिक्षक सीधे प्रिंसिपल नहीं बन सकेगा। पीईटी वह ही दे सकेंगे जो बोर्ड की संबद्धता के नियम 53 (1) का पालन करते हैं।
सरकारी को छूट निजी को नहीं : निजी स्कूलों में जो प्रिंसिपल वर्तमान में हैं उन्हें भी पीईटी में बैठना होगा। इन्हें पीईटी से छूट नहीं मिलेगी। सरकारी स्कूलों के प्रिंसिपल को पीईटी से छूट रहेगी। पीईटी समेत अन्य फैसले सीबीएसई की 20 दिसंबर को हुई बोर्ड के संचालक मण्डल की बैठक में लिया गया।
निजी स्कूलों में ऐसे होगा चयन : बोर्ड की संबद्धता कमेटी में नियम 25.2(ए) में संशोधन किया गया है। अब निजी स्कूलों में प्रिंसिपल के चयन के लिए एक कमेटी का गठन करना होगा। इसमें स्कूल सोसाइटी का अध्यक्ष, प्रबंध समिति का चेयरमैन, बोर्ड की सहमति से प्रबंध कमेटी एक शिक्षाविद का चयन करेगी, सीबीएसई चेयरमैन से नामित एक सदस्य, राज्य सरकार का एक नामित व्यक्ति। चयनित प्रिंसिपल में अंतिम दो सदस्यों की सहमति जरूरी होगी।