स्कूल और विभाग के बीच फंसा है बच्चों का हक
जागरण संवाददाता, आगरा: शिक्षा का अधिकार अधिनियम के तहत प्राइवेट स्कूलों में दाखिला लेने वाले बच्चों को यूनीफॉर्म और कॉपी-किताब के लिए सरकारी सहायता नहीं मिल रही है। कारण यह है कि अभी तक स्कूलों से छात्रों की जानकारी नहीं भेजी है।
वर्तमान शैक्षिक सत्र में गरीब बच्चों का एडमिशन प्रशासन ने निजी विद्यालयों में कराया है। इन्हें यूनीफॉर्म व कॉपी किताबों के लिए पांच हजार रुपये दिए जाने थे। शासन ने तो बजट पहले ही भेज दिया, लेकिन वह अभी तक छात्रों को नहीं मिला है। एडमिशन लेने वाले छात्रों के अभिभावकों का बैंक खाता नंबर व अन्य जानकारी स्कूलों द्वारा बीएसए कार्यालय भेजी जानी थी। एडमिशन के आठ महीने बाद भी ये जानकारियां विभाग को नहीं भेजी हैं। इस कारण बच्चों को उनका हक नहीं मिल रहा है। अभिभावक स्कूल और विभाग के चक्कर काट-काट कर परेशान हैं। बीएसए दिनेश यादव ने बताया कि निजी विद्यालयों के जानकारी न देने के चलते धनराशि स्थानांतरित नहीं हो रही है।
विभाग पर नहीं डाटा
बेसिक शिक्षा विभाग पर एडमिशन लेने वाले छात्रों का कोई डाटा नहीं है। विभाग ने स्कूलों को पत्र जारी कर डाटा मांगा था, लेकिन उनकी तरफ से कोई जवाब नहीं दिया।