इलाहाबाद : शिक्षक पुरस्कार के परिणाम रोकने की मांग
हिन्दुस्तान टीम, इलाहाबाद । राष्ट्रीय एवं राज्य शिक्षक पुरस्कार 2016 के परिणाम रोकने की मांग उठी है। राजकीय इंटर कॉलेज इलाहाबाद के शिक्षक डॉ. आरडी शुक्ला ने प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर 2014 व 2015 के पुरस्कार में लगे भ्रष्टाचार के आरोपों की जांच के बाद ही परिणाम घोषित करने की मांग की है। पुरस्कार के लिए 15 से 17 जून तक साक्षात्कार लिए जा चुके हैं। यूपी बोर्ड के पाठ्यक्रम शोध सहायक रहे डॉ. आरडी शुक्ला ने राष्ट्रीय एवं राज्य शिक्षक पुरस्कार 2014 व 2015 के लिए आवेदन किया था। दोनों ही वर्षों में चयनितों की सूची जारी होने के बाद उन्होंने पुरस्कार वितरण में भेदभाव एवं भ्रष्टाचार के आरोप लगाए थे। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और केन्द्रीय मानव संसाधन विकास मंत्रालय से अनियमितता की शिकायत की थी। मंत्रालय के अवर सचिव राजेन्द्र प्रताप ने 16 जनवरी 2017 को उत्तर प्रदेश के प्रमुख सचिव माध्यमिक को जांच करवाने और दोषी कर्मियों को दंडित किए जाने के निर्देश दिए थे। 2014 के पुरस्कारों में भी गड़बड़ी की शिकायत की थी। लेकिन प्रकरण की जांच उन्हीं अधिकारियों को दे दी गई थी जो खुद आरोपी हैं। डॉ. शुक्ला ने समन्वित शिकायत निवारण प्रणाली मुख्यमंत्री कार्यालय के जनसुनवाई वेबपोर्टल पर अक्तूबर 2016 से जून 2017 तक पांच बार शिकायत की। राज्यपाल और लोकायुक्त से भी शिकायत कर चुके हैं। लेकिन आज तक कुछ नहीं हुआ। डॉ. शुक्ला ने ताजा शिकायती पत्र में अनियमितता की जांच स्वतंत्र केंद्रीय एजेंसी से कराने की मांग की है। और जब तक जांच रिपोर्ट न आ जाए तब तक पुरस्कार पर रोक लगाने का अनुरोध किया है। इनका कहना है शिक्षक पुरस्कार में अनियमितता की शिकायत को शिक्षा विभाग के अफसर जान-बूझकर डाइवर्ट कर देते हैं। ये पुरस्कार शिक्षा निदेशक (माध्यमिक) की अध्यक्षता वाली समिति ही तय करती है। ऐसी परिस्थिति में धांधली की जांच वे स्वयं या उनके अधीनस्थ अधिकारी कैसे कर सकते हैं। डॉ. आरडी शुक्ला, शिक्षक राजकीय इंटर कॉलेज