सहारनपुर : डायट में आपसी वर्चस्व को लेकर प्रशिक्षण पर उठे सवाल?
जागरण संवाददाता, सहारनपुर : कभी हमने नहीं सोचा था कि संस्थान में ऐसा भी होता है? आए दिन स्टाफ के बीच आरोप-प्रत्यारोप तथा एक दूसरे के खिलाफ जिला प्रशासन और विभाग के उच्चाधिकारियों को शिकायतें। ये हाल जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान का है। यहां प्रशिक्षण ले रहे प्रशिक्षु कल परिषदीय स्कूलों में बच्चों को पढ़ाने की जिम्मेदारी संभालने वाले हैं। ऐसे में वह बच्चों के साथ कितना न्याय कर पाएंगे? इन अनसुलङो सवालों के हल को शायद अधिकारी भी नींद से जागने को तैयार नही हैं।
बेसिक शिक्षा परिषद के अंतर्गत आने वाले प्राथमिक व उच्च प्राथमिक स्कूलों में शिक्षकों की नियुक्ति जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी के स्तर से होती है। नियुक्ति के लिए स्नातक के साथ दो वर्षीय डीएलएड का प्रशिक्षण अनिवार्य है। पात्रता परीक्षा के रूप में टीईटी होना भी अभ्यर्थी के लिए अनिवार्य है। राज्य शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद के अंतर्गत जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान के अलावा प्राइवेट कालेजों में भी प्रवेश पाने वाले युवा ही प्रशिक्षण की एबीसीडी सीखते है। चिलकाना रोड गांव पटनी स्थित संस्थान में डीएलएड की 200 सीटों पर प्रवेश होते हैं।
स्टाफ की कमी से प्रशिक्षण प्रभावित : संस्थान में प्रवक्ता स्वीकृत 17 पदों के सापेक्ष दो, वरिष्ठ प्रवक्ता के छह स्वीकृत छह पदों के सापेक्ष एक कार्यरत है। तीन एलटी शिक्षक तथा तीन गेस्ट टीचर भी हैं। इन शिक्षकों पर 350 से अधिक प्रशिक्षुओं के प्रशिक्षण की जिम्मेदारी है। कई प्रशिक्षुओं ने बताया कि संस्थान में स्टाफ के बीच चल रही तनातनी के कारण उनका प्रशिक्षण सुचारु नहीं है। एक दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोप लगाने के सिलसिले में कई बार प्रशिक्षु भी बेमतलब उलझ जाते हैं। इसके अलावा प्रशिक्षुओं की उपस्थिति लगाने को लेकर भी पूर्व में कई बार खेल हो चुका है।
प्रवक्ता पर लगे थे गंभीर आरोप : पिछले दिनों एक महिला ने संस्थान के एक प्रवक्ता पर नौकरी दिलाने के नाम पर कई गंभीर आरोप लगाए थे। मामला सामने आने के बाद महिला ने प्राचार्या को फोन टे¨पग की आडियो के साथ शिकायती पत्र भी सौंपा था, जिसे प्राचार्या ने कार्रवाई के लिए उच्चाधिकारियों को भेज दिया था। इसके अलावा प्रवक्ता पर गलत तरीके से फर्जी बिल लगाकर धन हड़पने के आरोप भी हैं, जिसके बारे में जिला प्रशासन को अवगत कराया गया है।’
आए दिन आरोप-प्रत्यारोप से बढ़ी परेशानी : स्टाफ की कमी से भी बढ़ रही है समस्यासंस्थान में स्टाफ की कमी के बावजूद कक्षाएं सुचारुचलाने का हर संभव प्रयास किया जा रहा है। एक प्रवक्ता के गलत क्रियाकलापों के संबंध में जिला प्रशासन व विभाग के उच्चाधिकारियों को अवगत कराया जा चुका है।
- अनुराधा शर्मा, प्राचार्या जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान