फिरोजाबाद : बेसिक शिक्षा की गुणवत्ता निखारने के लिए ब्लॉक संसाधन केंद्रों पर प्रशिक्षण कराए गए।बीएसए ने चार साल की पत्रावलियां मांगी
ब्यूरो/अमर उजाला, फिरोजाबाद । बेसिक शिक्षा की गुणवत्ता निखारने के लिए ब्लॉक संसाधन केंद्रों पर प्रशिक्षण कराए गए। मगर प्रशिक्षण में हेराफेरी की आंशका जताई जा रही है। उच्च न्यायालय में मामला गया तो विभाग ने दवाब में पत्रावलियां मांगना शुरु कर दी है। ऐसे में शिक्षा विभाग में हड़कंप मच गया है।
डायट एवं जिला परियोजना कार्यालय द्वारा सर्व शिक्षा अभियान के तहत वित्तीय वर्ष 2008 से लेकर 2011 तक ब्लॉक को धनराशि भेजी गई थी। प्रशिक्षण में बजट को खर्च करने का खेल चला। कई प्रशिक्षण कागजों में सिमट कर रह गए थे। मामले को लेकर जनहित याचिका हाईकोर्ट में दाखिल की गई। विभाग ब्लॉकों से दो माह से पत्रावलियां मांग रहा है।
किंतु पत्रावलियां देने में ब्लॉक स्तर पर लचर रवइया अपनाया जा रहा है। बीएसए ने एबीएसए को आदेश जारी कर वित्तीय वर्ष 2008-09, 2009-10 एवं 2010 से 2011 में सर्व शिक्षा अभियान के तहत आयोजित प्रशिक्षण के अभिलेख मांगे हैं। जिनमें बिल बाउचर, अध्यापक उपस्थिति, उपस्थिति पंजिका, यात्रा भत्ता भुगतान, पंजिका, बैंक इश्यू रजिस्ट्रर, कैश बुक, लेजर एवं उपभोग प्रमाण पत्र शामिल हैं।
साथ ही संबंधित ब्लॉक संसाधन केंद्र के खाते के बैंक स्टेटमेंट की छायाप्रति (एक अप्रैल 2008 से 31 मार्च 2012 तक) भी तलब की है। इसके लिए 30 अक्तूबर तक का समय बीएसए ने दिया है। बीएसए सचिदानंद यादव ने कहा कुछ ब्लॉक ने पत्रावलियां जमा की हैं। अगर निर्धारित समय तक पत्रावलियां जमा नहीं हुईं तो कार्रवाई होगी।
कुछ दिन पूर्व जिले के एक ब्लाक में एक एबीआरसी द्वारा पत्रावलियां खोने की एफआईआर दर्ज कराने के लिए प्रार्थना पत्र दिया था। मगर यह मामला उजागर हुआ तो एबीआरसी ने गांव के किसी व्यक्ति द्वारा थैला लौटाने की बात कहकर मामला दबा दिया था। मगर आदेश के बाद स्थिति स्पष्ट हो रही है कि मामला जांच का था।