औरैया : परिषदीय स्कूल में पढ़ने वाले बच्चों को दोपहर के भोजन के अलावा सप्ताह में एक बार फल व दूध की व्यवस्था पिछली सरकार ने की थी
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जागरण संवाददाता, औरैया : परिषदीय स्कूल में पढ़ने वाले बच्चों को दोपहर के भोजन के अलावा सप्ताह में एक बार फल व दूध की व्यवस्था पिछली सरकार ने की थी। भाजपा सरकार बनने के बाद अधिकांश स्कूलों में बच्चों को दूध और फल नहीं दिए जाते हैं।
परिषदीय स्कूलों में बच्चों की सेहत सुधारने के लिए मिड डे मील के साथ-साथ सप्ताह में एक बार फल व दूध वितरण की व्यवस्था है। प्रदेश में भाजपा सरकार बनने के बाद परिषदीय स्कूलों में बच्चों को मिड डे मील तो मिल रहा है, लेकिन फल व दूध वितरण की व्यवस्था चौपट पड़ी। अधिकांश स्कूलों में फल वितरण के नाम पर सिर्फ खानापूर्ति ही की जा रही है। जबकि योजना के मुताबिक हर सोमवार को फल व हर बुधवार को दूध दिया जाना अनिवार्य है। लेकिन इसको लेकर घोर लापरवाही की जा रही है। कई महीनों से फल व दूध का पैसा सरकार द्वारा नहीं दिया गया है। इस कारण स्कूलों में फल व दूध नहीं बांटा जा रहा है। जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी एसपी यादव ने बताया कि मई में फल वितरण की ग्रांट आई थी। वह सभी विद्यालयों में भेज दी गई थी। तब से लेकर अब तक कोई पैसा सरकार द्वारा नहीं आया है। इससे थोड़ी परेशानी हो रही है। स्कूलों में तैनात अध्यापक अपने पास से ही फल व दूध का वितरण करवा रहे हैं। जैसे ही ग्रांट आएगी वैसे ही उनका पैसा दे दिया जाएगा।
जागरण संवाददाता, औरैया : परिषदीय स्कूल में पढ़ने वाले बच्चों को दोपहर के भोजन के अलावा सप्ताह में एक बार फल व दूध की व्यवस्था पिछली सरकार ने की थी। भाजपा सरकार बनने के बाद अधिकांश स्कूलों में बच्चों को दूध और फल नहीं दिए जाते हैं।
परिषदीय स्कूलों में बच्चों की सेहत सुधारने के लिए मिड डे मील के साथ-साथ सप्ताह में एक बार फल व दूध वितरण की व्यवस्था है। प्रदेश में भाजपा सरकार बनने के बाद परिषदीय स्कूलों में बच्चों को मिड डे मील तो मिल रहा है, लेकिन फल व दूध वितरण की व्यवस्था चौपट पड़ी। अधिकांश स्कूलों में फल वितरण के नाम पर सिर्फ खानापूर्ति ही की जा रही है। जबकि योजना के मुताबिक हर सोमवार को फल व हर बुधवार को दूध दिया जाना अनिवार्य है। लेकिन इसको लेकर घोर लापरवाही की जा रही है। कई महीनों से फल व दूध का पैसा सरकार द्वारा नहीं दिया गया है। इस कारण स्कूलों में फल व दूध नहीं बांटा जा रहा है। जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी एसपी यादव ने बताया कि मई में फल वितरण की ग्रांट आई थी। वह सभी विद्यालयों में भेज दी गई थी। तब से लेकर अब तक कोई पैसा सरकार द्वारा नहीं आया है। इससे थोड़ी परेशानी हो रही है। स्कूलों में तैनात अध्यापक अपने पास से ही फल व दूध का वितरण करवा रहे हैं। जैसे ही ग्रांट आएगी वैसे ही उनका पैसा दे दिया जाएगा।