बस्ती : स्कूल के हैंडपंप से निकल रहा गंदा पानी
औचक निरीक्षण, अचानक पहुंचे डीएम ने शिक्षकों की बौद्धिक क्षमता परखी ,समस्याएं भी जानी
जागरण संवाददाता, साऊंघाट,बस्ती: परिषदीय विद्यालयों में चल रही अर्धवार्षिक परीक्षा का जायजा लेने जिलाधिकारी अर¨वद कुमार सिंह व जवाइंट मजिस्ट्रेट चंद्र मोहन गर्ग गुरुवार को भी निकले। शहर तथा ग्रामीण क्षेत्र के कई स्कूलों का निरीक्षण किया। साऊंघाट विकास क्षेत्र के प्राथमिक विद्यालय बरेड़िया बुजुर्ग में विद्यालय पर अचानक पहुंचे जिलाधिकारी अर¨वद कुमार सिंह ने प्रधानाध्यापिका सहेला बेगम से चल रही अर्धवार्षिक परीक्षा के संबंध में जानकारी प्राप्त की। प्रधानाध्यापिका ने बताया कि हंिदूी व गणित का पेपर हो चुका है। बच्चे घर जा चुके हैं। यहां खेलने का मैदान नहीं है इसीलिए बच्चे रुकते ही नहीं हैं। जिलाधिकारी ने प्रधानाध्यापिका से प्रश्न पत्र मांगे तो उन्होंने बताया कि एक भी बचे नहीं हैं। फिर डीएम ने गणित के कुछ सवाल लगाने के लिए प्रधानाध्यापिका को दिया। प्रधानाध्यापिका ने सारे सवाल डीएम के सामने हल किए। इस बीच जिलाधिकारी को भी मच्छरों के प्रकोप का सामना करना पड़ा। शिक्षामित्र सरोज तथा संचिता से भी जिलाधिकारी ने अलग-अलग सवाल किए। नाला की तरफ का रास्ता बंद कराने के लिए निर्देशित किया तथा आसपास फा¨गग कराए जाने वह हैंड पंप की तत्काल मरम्मत कराने का निर्देश दिया। जिलाधिकारी के निर्देश पर क्षेत्रीय लेखपाल ने पहुंचकर विद्यालय में कमियों को दूर करने की रिपोर्ट बनाकर तहसील प्रशासन को भेजी। प्रधानाध्यापिका ने जिलाधिकारी को बताया कि विद्यालय में पंजीकृत 35 छात्र छात्रओं को प्रदूषित जल पीना पड़ रहा है। सरकारी हैंडपंप से कई महीनों से प्रदूषित पानी निकल रहा है। इस पानी का भोजन बनाने तथा पीने के लिए मजबूरी में इस्तेमाल करना पड़ रहा है।1 विद्यालय के निकट से नाला गया हुआ है जिसके कारण बच्चों को बदबूदार हवा वह मच्छरों के प्रकोप से जूझना पड़ रहा है। इस विद्यालय पर मात्र तीन कमरे बने हुए हैं जगह कम होने के कारण बच्चों के खेलने का मैदान भी नहीं है। इस इसके अलावा जिलाधिकारी ने शहर में कटेश्वर पार्क के पीछे स्थित परिषदीय स्कूल का भी निरीक्षण किया। 1कटेश्वर पार्क के पीछे स्थित प्राथमिक विद्यालय में निरीक्षण करते जिलाधिकारी अरविंद सिंह’ मच्छरों से जूझते हुए पढ़ाई कर रहे हैं बच्चे1’ खेल का मैदान न होने से स्कूल में बच्चे नहीं रुकते