लखनऊ : बेसिक शिक्षकों को मिल सकता है तोहफा, जनवरी के दूसरे हफ्ते में हो सकती है अंतरजनपदीय तबादले प्रक्रिया की शुरुआत
ऐसे तय होंगे गुणवत्ता अंक
’दिव्यांगता के लिए पांच अंक
’स्वयं या पति/पत्नी या बच्चे के असाध्य/गंभीर बीमारी से ग्रस्त होने पर पांच अंक
’महिला शिक्षक के लिए पांच अंक
’सेवा के प्रत्येक वर्ष के लिए एक अंक (अधिकतम 35 अंक)
’सेवाकाल के आधार पर यदि दो शिक्षकों के समान अंक होते हैं और केवल एक का ही तबादला किया जा सकता है तो ऐसी स्थिति में उनमें से अधिक आयु वाले अध्यापक को वरीयता दी जाएगी।
राज्य ब्यूरो, लखनऊ । पिछले साल अंतर जिला तबादले से वंचित रह गए परिषदीय स्कूलों के शिक्षकों की यह मुराद नए साल में पूरी होने के आसार हैं। जनवरी के दूसरे हफ्ते में परिषदीय शिक्षकों के अंतर जिला तबादला प्रक्रिया की शुरुआत हो सकती है। बेसिक शिक्षा विभाग में इस पर सहमति बन गई है। अंतर जिला तबादलों के लिए शिक्षकों से ऑनलाइन आवेदन लिए जाएंगे। तबादले के लिए वरीयता गुणवत्ता अंक के आधार पर तय की जाएगी।
शासन ने चालू शैक्षिक सत्र में परिषदीय (बेसिक) शिक्षकों के अंतर जिला तबादले की नीति जून में जारी की थी। नीति में कहा गया था कि अपनी तैनाती वाले जिले में 31 मार्च, 2017 तक पांच साल की संतोषजनक सेवा पूरी करने वाले नियमित शिक्षक ही चालू शैक्षिक सत्र में दूसरे जिले में तबादले के लिए आवेदन कर सकेंगे। शर्त यह भी थी कि शिक्षक ने पहले कभी अंतर जिला तबादले का लाभ न लिया हो। न ही उन्हें विभागीय कार्यवाही के तहत दंडित किया गया हो। अंतर जिला तबादले की प्रक्रिया जिले के अंदर शिक्षकों का समायोजन/स्थानांतरण पूरा होने के बाद ही शुरू होनी थी लेकिन, ऐसा हो नहीं पाया। बेसिक शिक्षा विभाग ने इस दिशा में फिर कदम बढ़ाने का मन बनाया है।
अंतर जिला तबादलों के इच्छुक अध्यापकों को ऑनलाइन आवेदन में वरीयता क्रम में तीन जिलों का विकल्प देना होगा। स्थानांतरण चाहने वाले शिक्षकों का तबादला उनके अधिमान क्रम में प्रथम विकल्प के तौर पर किया जाएगा।
इसके बाद उनका स्थानांतरण उनके द्वितीय विकल्प और बाकी बचे अध्यापकों का उनके तीसरे विकल्प के आधार पर किया जाएगा। यदि पति-पत्नी दोनों में से कोई एक प्रदेश सरकार की सेवा में हो तो उन्हें यथासंभव एक ही जिले में तैनाती दी जाएगी। शिक्षकों को ऑनलाइन आवेदन के साथ संबंधित दस्तावेज भी अपलोड करने होंगे।