महराजगंज : शिक्षा के प्रति जागरूक किए जाएंगे 12840 सदस्य
महराजगंज: सर्व शिक्षा अभियान के तहत जिले के 2127 परिषदीय व 13 कस्तूरबा विद्यालयों में शिक्षा की गुणवत्ता को सुधारने की दिशा में कवायद प्रारंभ कर दी गई है।1बेसिक शिक्षा विभाग ने विद्यालयों में गठित स्कूल मैनेजमेंट डेवलपमेंट कमेटी के सदस्यों को तीन दिवसीय प्रशिक्षण देने का मन बनाया है। पांच फरवरी से सात मार्च तक जिले के समस्त 102 न्याय पंचायतों में चलने वाले प्रशिक्षण में समिति के 12840 सदस्यों को प्रशिक्षित किए जाने की योजना है।
परिषदीय व कस्तूरबा विद्यालयों में गठित स्कूल प्रबंधन विकास समिति के सदस्यों को उनके दायित्वों को बताने, विद्यालय में ध्यान दिए जाने वाले बिंदुओं की जानकारी देने तथा समिति के महत्व आदि की जानकारी देने के लिए बेसिक शिक्षा विभाग ने पहल शुरू कर दी है।
पहल के क्रम में पहले प्रत्येक ब्लाक के छह संदर्भदाताओं को प्रशिक्षित किया जाएगा जो न्याय पंचायत स्तर पर समिति के सदस्यों को प्रशिक्षित करेंगे। विभाग की मंशा है कि जब एसएमडीसी के सदस्य अपने दायित्वों व अधिकारों को समङोंगे तो शिक्षा व्यवस्था, बच्चों के स्कूलों में ठहराव, शिक्षकों की उपस्थिति आदि में सुधार होगा। शिक्षा व्यवस्था सुधरेगी तो समाज व देश के विकास का मार्ग प्रशस्त होगा।
महराजगंज: सर्व शिक्षा अभियान के तहत जिले के 2127 परिषदीय व 13 कस्तूरबा विद्यालयों में शिक्षा की गुणवत्ता को सुधारने की दिशा में कवायद प्रारंभ कर दी गई है।1बेसिक शिक्षा विभाग ने विद्यालयों में गठित स्कूल मैनेजमेंट डेवलपमेंट कमेटी के सदस्यों को तीन दिवसीय प्रशिक्षण देने का मन बनाया है। पांच फरवरी से सात मार्च तक जिले के समस्त 102 न्याय पंचायतों में चलने वाले प्रशिक्षण में समिति के 12840 सदस्यों को प्रशिक्षित किए जाने की योजना है।
परिषदीय व कस्तूरबा विद्यालयों में गठित स्कूल प्रबंधन विकास समिति के सदस्यों को उनके दायित्वों को बताने, विद्यालय में ध्यान दिए जाने वाले बिंदुओं की जानकारी देने तथा समिति के महत्व आदि की जानकारी देने के लिए बेसिक शिक्षा विभाग ने पहल शुरू कर दी है।
पहल के क्रम में पहले प्रत्येक ब्लाक के छह संदर्भदाताओं को प्रशिक्षित किया जाएगा जो न्याय पंचायत स्तर पर समिति के सदस्यों को प्रशिक्षित करेंगे। विभाग की मंशा है कि जब एसएमडीसी के सदस्य अपने दायित्वों व अधिकारों को समङोंगे तो शिक्षा व्यवस्था, बच्चों के स्कूलों में ठहराव, शिक्षकों की उपस्थिति आदि में सुधार होगा। शिक्षा व्यवस्था सुधरेगी तो समाज व देश के विकास का मार्ग प्रशस्त होगा।