सम्भल : अब एक शिक्षा नीति से निखरेगी बच्चों की प्रतिभा
सम्भल : एक शिक्षा नीति बनाने का बजट में प्रावधान केंद्र सरकार ने कर दिया हैं इसका सीधा असर शिक्षा प्रणाली पर पड़ेगा। अब तक दोष मुक्त हो चुकी शिक्षा प्रणाली में सरकार का यह प्रयास मील का पत्थर साबित होगा। शिक्षकों ने इसे बेहतर कदम माना है। उनका यह भी कहना है कि अब तक सीबीएसई आइसीएसई यूपी बोर्ड के पाठ्यक्रम को लेकर भी संबंधित बोर्ड के बच्चों के अंदर एक रूपता नहीं थीं। इसके अलावा सरकारी स्तर पर भी इसके जरिए समानता आएगी।
केंद्र सरकार का बजट शिक्षा नीति की समानता के लिए बेहतर प्रयास माना जा रहा है। सरकार ने बजट में कहा है कि अब प्री-नर्सरी से 12 वीं तक के लिए एक नीति बनेगी। अब तक प्राथमिक, माध्यमिक और उच्च शिक्षा के लिए अलग-अलग नीति होती थी। इससे बच्चों को अलग अलग स्कूलों में अलग कोर्स व अलग किताबें मिलती थी। किसी का कोर्स कक्षा एक में काफी कठिन तो किसी का काफी सरल होता था। सरकार इस पर नए सिरे से काम करने का मन बना चुकी है।
इनसेट....सरकार ने बजट में शिक्षकों की गुणवत्ता सुधारने पर भी बल दिया है। इसके तहत प्रशिक्षण भी दिया जाएगा जो काफी हद तक शिक्षा नीति के लिए बेहतर कदम है।
प्रेम ¨सह राणा, शिक्षक
इनसेट.....शिक्षा के क्षेत्र में और ध्यान देने की जरूरत है। शिक्षकों को डिजिटल माध्यम से ट्रेंड करने की बात कही गई है जो तारीफ के काबिल है। इसके अलावा आदिवासी बच्चों के लिए रेसीडेंशियल स्कूल खोले जाने की घोषणा की गई है।
मोहम्मद उमर, शिक्षक
इनसेट....सरकार का बजट पूरी तरह से आमजन से दूर रहा है। सरकार ने बजट में एक समान शिक्षा नीति तो बना दी है लेकिन सम्भल या इसके आसपास के जनपदों की झोली पूरी तरह से खाली है। इस क्षेत्र का विकास आज भी अधूरा है।
नवनीत शर्मा, अभिभावक
इनसेट..
सरकार ने एक समान शिक्षा नीति की घोषणाकर बेहतर कदम उठाया है। इसके साथ ही शिक्षकों के प्रशिक्षण का भी प्रावधान है जो बेहतर कदम है। इसकी सराहना की जानी चाहिए।
विपुल अग्रवाल, शिक्षक