सीतापुर : डेस्क व बेंच पर बैठ पढ़ाई करेंगे एक लाख बच्चे,
सीतापुर। परिषदीय विद्यालयों की सूरत जल्द ही बदली नजर आएगी। इन स्कूलोें के नौनिहाल अब टाट पट्टी को बाय-बाय करेंगे। वह अब कॉन्वेंट स्कूलों के नौनिहालों की तरह डेस्क व बेंच पर बैठकर पढ़ते हुए नजर आएंगे। इससे वह बेहतर तरीके से बैठकर शिक्षा ग्रहण कर सकेंगे। कारण यह है कि शासन ने इन स्कूलों में फर्नीचर के लिए बजट मुहैया करा दिया है। पहले चरण में 155 विद्यालयों में फर्नीचर की खरीद-फरोख्त की जाएगी। इससे करीब एक लाख नौनिहालों को लाभ मिलेगा। इसको लेकर कवायद शुरू हो गई है। नए सत्र पर स्कूल में फर्नीचर पहुंच जाएगा।
जिले के अधिकांश परिषदीय विद्यालयों में फर्नीचर नहीं हैं। इससे यहां के नौनिहाल टाट पट्टी पर बैठकर पढ़ाई करने को मजबूर हैं। इस टाट पट्टी की वजह से एक तो उनकी ड्रेस गंदी हो जाती है, वहीं बरसात के समय बहुत समस्याएं आती हैं। स्कूल के बाहर से कीचड़ कमरों के अंदर तक आ जाता है। फिर वह टाट पट्टी पर पहुंचकर विद्यार्थियों को परेशान करता है। वहीं कीड़े मकौड़े का भी डर बना रहता है। अब यह सभी समस्याएं जल्द ही दूर हो जाएंगी। शासन ने जिले को पहले चरण में 155 उच्च प्राथमिक विद्यालयों के लिए फर्नीचर का बजट मुहैया करा दिया है। दो करोड़ 41 लाख की लागत से यहां पर तीन सीटर डेस्क व बेंच खरीदी जाएंगी। यह पूरी कवायद नए सत्र से पहले पूरी कर ली जाएगी। उम्मीद है कि जब नौनिहाल नए सत्र पर अगली कक्षा में जाएंगे तो वह सीट पर बैठे हुए दिखाई देंगे। इसको लेकर बीएसए ने टेंडर प्रक्रिया शुरू कर दी है। इसका फायदा जनपद के करीब एक लाख नौनिहालों को मिलेगा। बीएसए अजय कुमार ने कहा कि शासन ने स्कूलों में फर्नीचर के लिए बजट मुहैया करा दिया है। इस पर टेंडर प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। नए सत्र पर 155 विद्यालयों में फर्नीचर पहुंच जाएगा।
*जिले में कितने हैं स्कूल*
जिले में 3015 प्राथमिक विद्यालय हैं। इन विद्यालयों में करीब चार लाख नौनिहाल पढ़ रहे हैं। इसी प्रकार 1148 उच्च प्राथमिक विद्यालय हैं। इनमें दो लाख नौनिहाल शिक्षा ग्रहण कर रहे है। विभाग के मुताबिक करीब 50 फीसदी स्कूलों में फर्नीचर नहीं है। अब अगले चरण में अन्य विद्यालयों में फर्नीचर मुहैया कराया जाएगा।