लखनऊ : विधानभवन घेराव में नाकाम बीपीएड डिग्रीधारकों ने सड़क जामकर प्रदर्शन किया
- करीब पांच घंटे रही यातायात व्यवस्था बाधित
- सीएम से वार्ता के बाद प्रदर्शन हुआ समाप्त
लखनऊ। उच्च प्राथमिक विद्यालयों में शारीरिक शिक्षक व खेलकूद अनुदेशक की भर्ती प्रक्रिया पर लगी रोक हटा कर काउंसलिंग शुरू कराने की मांग कर रहे बीपीएड डिग्रीधारक मंगलवार को सड़क पर उतर पड़े। विधानभवन घेराव को निकले अभ्यर्थियों को पुलिस ने बीजेपी कार्यालय से आगे नहीं बढ़ने दिया। इससे तिलमिलाये अभ्यर्थी त्रिलोकीनाथ मार्ग जामकर प्रदर्शन करने लगे। जिसके चलते हजरतगंज की यातायात व्यवस्था चरमरा उठी। इस बीच पुलिस ने उन्हें सड़क से हटाने का भी प्रयास किया, लेकिन कामयाबी नहीं मिली। करीब पांच घंटे बाद सीएम से हुई वार्ता में मिले आश्वासन पर प्रदर्शन समाप्त हो सका।
सुबह करीब दस बजे से ही हजरतगंज में बीपीएड डिग्रीधारक जुटने लगे थे। थोड़ी ही देर में इनकी संख्या सैकड़ों में पहुंच गई। इसके बाद सभी विधानभवन की ओर कूच करने लगे। तभी बीजेपी कार्यालय के बाद पुलिस ने बैरिकेडिंग लगाकर इन्हें रोक दिया। इससे नाराज डिग्रीधारकों ने त्रिलोकीनाथ मार्ग को जामकर प्रदर्शन शुरू कर दिया। इसी बीच कुछ प्रदर्शनकारी बैरिकेडिंग पार करने की कोशिश करने लगे, लेकिन पुलिस ने उन्हें कामयाब नहीं होने दिया। प्रदर्शनकारी लगातार सीएम से वार्ता कराने की मांग कर रहे थे। काफी देर बार भी जब एनेक्सी से बुलावा नहीं आया तो डिग्रीधारक अर्द्धनग्न होकर प्रदर्शन करने लगे। वहीं यातायात व्यवस्था को पटरी से उतरते देख जिला प्रशासन के अधिकारी भी हरकत में आए और प्रदर्शन का नेतृत्व कर रहे शरीरिक शिक्षक (बीपीएड) संघर्ष मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष धीरेन्द्र यादव की अध्यक्षता वाले पांच सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल की मुलाकात सीएम से कराई। एनेक्सी भवन में हुई सीएम से वार्ता के बाद प्रदर्शन समाप्त हो सका। धीरेन्द्र यादव ने बताया कि सीएम ने चार अप्रैल तक भर्ती प्रक्रिया पुन: शुरू करने का आश्वासन दिया है।
*यह है मामला*
बेसिक शिक्षा विभाग द्वारा 19 सितंबर 2016 को शासनदेश जारी कर प्रदेश के 32 हजार से अधिक उच्च प्राथमिक विद्यालयों में खेलकूद व शारीरिक शिक्षा अनुदेशक ऑनलाइन भर्ती प्रक्रिया शुरू की गई थी। चार व 17 अप्रैल को प्रथम व द्वितीय काउंसलिंग प्रस्तावित थी। शैक्षिक मेरिट के आधार पर चयन होना था। इसी बीच बेसिक शिक्षा परिषद के सचिव द्वारा 23 अप्रैल 2017 को भर्ती पर रोक लगा दी गई।