कीचड़ व जलजमाव से हो रही दिक्कत
जागरण संवाददाता, ज्ञानपुर (भदोही) : जब साहब का दफ्तर ही बदहाल है तो परिषदीय विद्यालयों की बदहाली में...
जागरण संवाददाता, ज्ञानपुर (भदोही) : जब साहब का दफ्तर ही बदहाल है तो परिषदीय विद्यालयों की बदहाली में सुधार होने का कयास लगाना बेमानी होगी। परिषदीय विद्यालयों को संसाधनों से लैश करने का जिम्मा उठाए कार्यालय अपनी बदहाली पर आंसू बहा रहा है। ब्लाक संसाधन केंद्र ज्ञानपुर की दशा कुछ ऐसी ही है। कार्यालय परिसर में जमा पानी व कीचड़ से अधिकारियों व कर्मचारियों समेत कार्यालय आने जाने वाले शिक्षकों को दिक्कत उठानी पड़ती है। समस्या को लेकर जिम्मेदार की ओर से पुख्ता इंतजाम न किए जाने से दिक्कत दूर होती नहीं दिख रही है।
विकास खंड के विद्यालयों के संसाधनों का जिम्मा संभाले खुद बीआरसी कार्यालय बारिश के मौसम में बदहाली के दौर से गुजर रहा है। आलम यह है कि एक ओर से जहां विद्यालयों को सभी आवश्यक संसाधनों से लैश कर शिक्षा व्यवस्था चाक चौबंद किए जाने के दावे किए जा रहे हैं। तो दूसरी ओर खुद जलजमाव व कीचड़ का जलालत झेल रहे कार्यालय से अधिकारियों के संजीदगी का पोल खुलता दिख रहा है।
सवाल यह उठता है कि जो खुद की व्यवस्था के लिए मोहताज हो तो वह परिषदीय विद्यालयों के भवन व परिसर की दिक्कतों को दूर करने के लिए कैसे गंभीर हो सकता है। किसी विभाग में कार्यालय व्यवस्था के लिए जरुरत के हिसाब से प्रत्येक वर्ष बजट भी सरकार की ओर से उपलब्ध कराया जाता है।
बावजूद इसके परिसर में जलजमाव व कीचड़ कार्यालय में आवागमन को हो रही दिक्कत को लेकर कोई ठोस कदम नहीं उठाया जा सका। जिससे बारिश के मौसम में निकट भविष्य में दिक्कत दूर होती नहीं दिख रही है। हालातों पर गौर करें तो मेन गेट से कार्यालय भवन तक कीचड़ व पानी के बचाव के लिए दो-चार ईंट रख दिया गया है। जिसका सहारा लेकर किसी तरह लोग कार्यालय तक पहुंच पाते हैं। थोड़ी भी असावधानी हुई तो फिसलकर गिरने से जिल्लत झेलने की संभावनाओं से भी इंकार नहीं किया जा सकता है। जो भी लेकिन विभागीय अधिकारियों की उपेक्षा से कार्यालय परिसर की समस्या दूर होती नहीं दिख रही है।