नवाचार से मजबूत हो रही शिक्षा की नींव
बलरामपुर: मिशन शिक्षण संवाद बेसिक शिक्षा के लिए वरदान साबित हो रहा है। जिले में 36 परिषद...
बलरामपुर: मिशन शिक्षण संवाद बेसिक शिक्षा के लिए वरदान साबित हो रहा है। जिले में 36 परिषदीय स्कूलों में मिशन शिक्षण संवाद के तहत नवाचार के माध्यम से बच्चों के भविष्य की नींव मजबूत की जा रही है। नवाचारी शिक्षक आधुनिक व रोचक तरीकों से बच्चों को उत्तम शैक्षिक माहौल देकर उनमें बौद्धिक व नेतृत्व क्षमता का विकास करने में जुटे हैं। परिषदीय शिक्षा के स्तर को सुधारने के लिए जिले के पांच नवाचारी शिक्षकों को सिद्धार्थनगर, मऊ व लखनऊ में सम्मानित भी किया जा चुका है।
जिले के 36 स्कूलों में शैक्षिक गुणवत्ता सुधारने की पहल रंग लाने लगी है। इन स्कूलों में नवाचार के तहत फ्लैक्स, वाल पें¨टग, सामान्य ज्ञान प्रतियोगिता, क्राफ्ट वर्क, टीएलएम प्रशिक्षण, गतिविधि आधारित शिक्षा दी जा रही है। साथ ही बच्चों को लैपटॉप व मोबाइल के माध्यम से ज्ञानवर्धक जानकारी दी जाती है। कई स्कूलों में थ्री-डी पद्धति से विषयवस्तु का सजीव चित्रण बच्चों की बौद्धिक क्षमता को बढ़ाने में कारगर साबित हो रहा है। बच्चों में नेतृत्व क्षमता के विकास के लिए बाल संसद, स्वच्छता समिति, प्रार्थना समिति, भोजन समिति का गठन किया गया है। प्रतिस्पर्धा की भावना विकसित करने के लिए स्टार ऑफ द मंथ व वीक का चयन किया जाता है। हर शनिवार को नो बैग डे पर बाल सभा कर खेलकूद प्रतियोगिता कराई जाती है। विज्ञान की जानकारी के लिए बच्चों को परख पत्रिका का अध्ययन कराया जाता है।
ये हो चुके हैं सम्मानित:
बीएसए हरिहर प्रसाद का कहना है कि मिशन शिक्षण संवाद से स्कूलों में शैक्षिक गुणवत्ता सुधर रही है। इसके लिए प्राथमिक विद्यालय हृदयनगर के प्रधानाचार्य ब्रजेश कुमार द्विवेदी व धुसाह प्रथम के जयशेखर को कपिलवस्तु महोत्सव में सम्मानित किया जा चुका है। पूर्व माध्यमिक विद्यालय सहजौरा के श्रीराम को बेसिक शिक्षा महोत्सव मऊ, ओपी ¨सह व ब्रजेश द्विवेदी को मंडलीय कार्यशाला वाराणसी में पुरस्कृत किया गया। जबकि प्राथमिक विद्यालय धुसाह प्रथम की प्रधानाचार्या प्रतिमा ¨सह व श्रीराम को टीचर्स क्लब के शैक्षिक उन्नयन शिविर में सम्मानित किया गया है। जिले में हुई शैक्षिक संवर्धन कार्यशाला में जिलाधिकारी व सीडीओ भी नवाचारी शिक्षकों को सम्मानित कर चुके हैं।