तो हादसे में इंतजार में रहते हैं जिम्मेदार अधिकारी
अवैध रुप से संचालित स्कूल और वाहन से हुई घटना के बाद आखिरकार जिम्मेदार परिवहन, शिक्षा विभाग और खाद्य एवं रसद विभाग के अधिकारियों की नींद खुल गई है।...
जागरण संवाददाता, ज्ञानपुर (भदोही) : अवैध रुप से संचालित स्कूल और वाहन से हुई घटना के बाद आखिरकार जिम्मेदार परिवहन, शिक्षा विभाग और खाद्य एवं रसद विभाग के अधिकारियों की नींद खुल गई है। सोमवार को उनके द्वारा चलाए गए अभियान के बाद लोगों की जुबानी जंग शुरू हो गई। हर ओर लोग यही कहते रहे कि अधिकारी इसी तरह के हादसे के इंतजार में रहते हैं। कैयरमऊ सहित अन्य स्थानों पर हुई घटना के दो-तीन दिन तक तो सक्रियता रहती है लेकिन जैसे ही कुछ समय गुजर जाता है तो अधिकारी भूल जाते हैं।
कोतवाली क्षेत्र के लखनो गांव के पास शोला बनी वैन पूरी तरह अवैध संचालित की जा रही थी। बच्चों को ढोने लिए वह अधिकृत नहीं थी। इसके साथ ही आठ सीट वाली वैन में 18 बच्चों को किस तरह ढोया जा रहा था। इसका सहज अंदाजा लगाया जा सकता है। यही नहीं शिक्षा विभाग के नाक के नीचे अवैध विद्यालय संचालित किए जा रहे थे लेकिन वह अनभिज्ञ बने रहे। जानकारों का कहना है कि जिम्मेदार अधिकारी किसी घटना के इंतजार में रहते हैं। कैयरमऊ में आठ बच्चों की मौत के बाद कुछ दिन तक अभियान चलाया गया था। इसके बाद अभियान को ठंडे बस्ते में डाल दिया गया था। अवैध रूप से संचालित की जा रही स्कूल वैन में लगी आग से 19 बच्चे झुलस गए थे। अभी भी सात बच्चे जीवन मौत से जूझ रहे हैं। घटना के बाद शिक्षा विभाग, परिवहन विभाग के अधिकारियों की नींद खुल गई है। सोमवार को जगह-जगह अभियान चलाकर अमान्य विद्यालयों और अवैध वाहनों को सीज किया गया। अधिकारियों की कार्रवाई पर भी सवाल उठना लाजिमी है कि यदि वह पहले ही चेत लिए होते तो मासूमों को इस कदर झुलसने की घटना न होती।
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अधिकारी करा रहे वाल पें¨टग
शिक्षा विभाग के अधिकारी अमान्य विद्यालयों को सीज करने के साथ ही साथ आस-पास की दीवारों पर सूचना की वाल पें¨टग भी करा रहे हैं। जिससे अभिभावक और अन्य लोगों के पास इस विषय की जानकारी हो जाए कि यह विद्यालय अमान्य है। अभी तक कार्रवाई से पल्लाझाड़ रहे शिक्षा विभाग के अधिकारियों की सजगता देख लोगों को हैरान होना लाजिमी है। लोगों का कहना है कि शासन निर्देश के बाद भी खंड शिक्षा अधिकारियों के संरक्षण में अवैध रूप से विद्यालय संचालित किए जाते रहे।