बीईओ ने नहीं भेजी उपस्थिति, अनुदेशकों के 44 लाख फंसे
अनुदेशक कल्याण एसोसिएशन के जिलाध्यक्ष स्वदेश कुमार मिश्र ने कहा कि अनुदेशकों की कई समस्याओं को समाधान नहीं हो रहा है, जिससे वह परेशानी का सामना करते हैं। समय से मादेय भुगतान न होना बड़ी समस्या बन गया है। कभी बजट का अभाव तो कभी उपस्थिति का बहाना है। वह कार्यालय के चक्कर लगाने को विवश हैं। हर बार ऐसा ही होता है। अधिकारी ध्यान नहीं देते हैं।...
गोंडा : बेसिक शिक्षा परिषद के उच्च प्राथमिक विद्यालयों में कार्यरत अनुदेशकों को दिसंबर से मानदेय नहीं मिला है। यह हाल तब है जबकि शासन ने मानदेय के मद में 44 लाख रुपये आवंटित कर दिए हैं। खंड शिक्षा अधिकारियों द्वारा उपस्थिति पत्र नहीं भेजे जाने से भुगतान लटका है।
जूनियर स्कूलों में 481 अंशकालीन अनुदेशकों की तैनाती है। सर्व शिक्षा अभियान से इनके मानदेय का भुगतान किया जाता है। बीईओ को हर महीने इनकी उपस्थिति सत्यापित करनी होती है। इसके बाद भुगतान किया जाता है लेकिन, इसमें मनमानी की जाती है। बेलसर व तरबगंज ब्लॉकों से सूची नहीं भेजी गई है। ऐसे में खाते में धनराशि डंप होने के बाद भी जिलेभर के अनुदेशकों का भुगतान फंसा हुआ है। बीएसए स्तर से भी पत्र भेजकर दायित्वों से इतिश्री कर ली जाती है। इससे मनमानी का खेल चलता है, जिसका खामियाजा अनुदेशकों को भुगतना पड़ रहा है। बेसिक शिक्षा अधिकारी मनिराम ¨सह ने बताया कि बीईओ को उपस्थिति देने के निर्देश दिए गए हैं। जल्द ही भुगतान कर दिया जाएगा। हर बार ऐसा ही होता है
- अनुदेशक कल्याण एसोसिएशन के जिलाध्यक्ष स्वदेश कुमार मिश्र ने कहा कि अनुदेशकों की कई समस्याओं पहले ही लंबित हैं, जिससे वह परेशानी का सामना कर रहे हैं। समय से मानदेय भुगतान न होना बड़ी समस्या बन गई है। कभी बजट का अभाव तो कभी उपस्थिति का बहाना है। वह कार्यालय के चक्कर लगाने को विवश हैं। हर बार ऐसा ही होता है लेकिन, अधिकारी ध्यान नहीं देते हैं।