12वीं तक लागू करो शिक्षा का अधिकार कानून
जासं, नई दिल्ली : आठवीं कक्षा के बाद सैकड़ों बच्चों को स्कूल से निकालने के खिलाफ दायर जनहित याचिका पर हाई कोर्ट ने महत्वपूर्ण आदेश दिया। जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए मंगलवार को दिल्ली हाई कोर्ट ने आर्थिक रूप से कमजोर (ईडब्ल्यूएस) बच्चों के लिए 12वीं तक शिक्षा का अधिकार देने पर फैसला लेने के निर्देश दिए। साथ ही मानव संसाधन मंत्रलय के सचिव को इस बाबत दो सप्ताह के अंदर शपथ पत्र दाखिल करने का भी आदेश दिया। याचिका पर अगली सुनवाई 27 मई को होगी।
दिल्ली हाई कोर्ट ने यह आदेश गैर सरकारी संगठन सोशल जूरिस्ट की तरफ से दायर जनहित याचिका पर दी। अधिवक्ता अशोक अग्रवाल द्वारा दायर याचिका में शिक्षा का अधिकार (आरटीई) संशोधन 2009 के तहत आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग के बच्चों को गैर मान्यता प्राप्त निजी स्कूल में 12वीं तक शिक्षा दिए जाने की मांग की गई है। याचिका में कहा गया है कि गैर सरकारी जमीन पर बने स्कूलों में बच्चों को 12वीं तक की शिक्षा उपलब्ध कराई जाए ताकि आरटीई के मूल उद्देश्य को पूरा किया जा सके। याचिकाकर्ता ने आरोप लगाया कि आरटीई के तहत प्रवेश पाने वाले सैकड़ों छात्रों आठवीं के बाद स्कूल से निकाला जा रहा है।