विद्यार्थियों की पढ़ाई, अधिकारियों का इम्तिहान
राब्यू, लखनऊ : माध्यमिक स्कूलों में पढ़ाई की जमीनी हकीकत जांचने में अधिकारी सुस्ती दिखा रहे हैं। शैक्षिक सत्र की शुरुआत में ही सख्त निर्देश दिए गए थे कि शैक्षिक पंचांग के अनुसार स्कूलों में पढ़ाई हो, इसके लिए मंडलीय संयुक्त शिक्षा निदेशक व जिला विद्यालय निरीक्षक निगरानी करें। स्कूलों में शिक्षकों की बायोमीटिक उपस्थिति अनिवार्य होने के बावजूद आए दिन कक्षाएं ढंग से न पढ़ाए जाने की शिकायतें सामने आती हैं। अर्धवार्षिक परीक्षा भी कई जिलों में शुरू हो चुकी है। ऐसे में अब प्रमुख सचिव आराधना शुक्ला ने अधिकारियों से 25 सितंबर तक रिपोर्ट तलब की है।
सरकारी माध्यमिक स्कूलों में नियमित कक्षाएं और समय पर पाठ्यक्रम पूरा हो इस पर सत्र की शुरुआत में ही अधिकारियों को कड़े निर्देश दिए गए थे। हाईस्कूल व इंटरमीडिएट का सिलेबस हर माह कितना पढ़ाया जाएगा, उसे विभाजित कर माध्यमिक शिक्षा परिषद की वेबसाइट पर अपलोड किया गया था। मंडलीय संयुक्त शिक्षा निदेशक और जिला विद्यालय निरीक्षकों को रिपोर्ट तैयार करनी थी। फिलहाल अभी तक न तो मौके पर जाकर स्कूलों की जांच की गई और न ही रिपोर्ट तैयार की गई। कई जिलों से कक्षाएं ढंग से न होने की शिकायतें भी सामने आ रही हैं।
माध्यमिक शिक्षा निदेशक विनय कुमार पांडेय की ओर से सभी मंडलीय संयुक्त शिक्षा निदेशक व डीआइओएस को पत्र भेजकर रिपोर्ट तैयार करने के निर्देश दिए हैं। 25 सितंबर तक रिपोर्ट मांगी गई है और इसके बाद खुद प्रमुख सचिव प्रत्येक जिले की समीक्षा करेंगी। लापरवाही मिलने पर कार्रवाई की जाएगी। सभी अधिकारियों से शिक्षकों व कर्मचारियों के रिक्त पदों का ब्योरा भी मांगा गया है।
माध्यमिक स्कूलों में पढ़ाई की हकीकत जांचने में अधिकारी सुस्त, प्रमुख सचिव ने तलब की रिपोर्ट, 25 सितंबर के बाद होगी समीक्षा