प्रयागराज : UPPSC आयोग ने तीन साल में आरक्षण पर नहीं दी स्पष्ट जानकारी
मुख्य संवाददाता,प्रयागराज । उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग पिछले तीन वर्ष से आरटीआई के तहत आरक्षण को लेकर मांगी गई स्पष्ट जानकारी नहीं दे रहा है। 2016 में प्रतियोगी छात्र संघर्ष समिति के मीडिया प्रभारी अवनीश पांडेय ने आयोग को अलग-अलग तीन आवेदन देकर आरक्षण से जुड़ी जानकारी मांगी थी। आरोप है कि आयोग ने आज तक किसी भी मामले में स्पष्ट जानकारी नहीं दिया है। तीनों मामलों में सही जानकारी न देने का विवाद इस समय राज्य सूचना आयोग में चल रहा है।
अवनीश का कहना है कि पूर्व अध्यक्ष डॉ. अनिल यादव के कार्यकाल से ही पीसीएस सहित सभी भर्तियों में हर स्तर पर आरक्षण का लाभ दिया जा रहा है जबकि यूपी की आरक्षण नियमावली में सिर्फ अंतिम चयन में ही आरक्षण देने प्रावधान है। बकौल अवनीश पूर्व अध्यक्ष डॉ. यादव ने 2013 में त्रिस्तरीय आरक्षण का प्रस्ताव पास किया था, जिसे प्रतियोगी छात्रों के उग्र विरोध के बाद वापस ले लिया था लेकिन पीसीएस सहित अन्य भर्तियों में एक से अधिक स्तर पर आरक्षण का लाभ देने की व्यवस्था चली आ रही है। इसलिए उन्होंने 2016 में आरटीआई के तहत पीसीएस 2015 प्री, मेंस और अंतिम चयन में सफल हुए अनारक्षित और आरक्षित वर्ग के अभ्यर्थियों की अलग-अलग संख्या की जानकारी मांगी थी। वहीं दो अन्य आरटीआई में उस शासनादेश की प्रति देने को कहा था, जिसके तहत पीसीएस सहित अन्य भर्तियों में एक से अधिक स्तर पर आरक्षण का लाभ दिया जा रहा है। लेकिन आयोग ने अब तक इन तीनों ही आरटीआई में मांगी गई जानकारी स्पष्ट तौर पर नहीं दी है।
हाईकोर्ट के आदेश पर बदली व्यवस्था
अवनीश ने एक से अधिक स्तर पर आरक्षण का लाभ देने के खिलाफ हाईकोर्ट में याचिका भी दायर की है, जिस पर हुए आदेश के बाद आयोग ने आरक्षित वर्ग की चयन प्रक्रिया में बदलाव करते हुए अंतिम चयन में ओवरलैपिंग समाप्त करने का निर्णय लिया है। निर्णय के मुताबिक अंतिम चयन से पूर्व प्री या मेंस किसी भी स्तर पर अर्हकारी मानक (क्वालिफाइंग स्टैंडर्ड) में छूट का लाभ लेने वाले आरक्षित श्रेणी के अभ्यर्थियों को अंतिम चयन में समायोजित (ओवरलैप) नहीं किया जाएगा। भले ही उन्हें अनारक्षित वर्ग के अभ्यर्थियों के न्यूनतम कटऑफ अंक के बराबर या अधिक अंक क्यों न मिला हो। ऐसे अभ्यर्थी अंतिम चयन में अपनी ही श्रेणी में सफल किए जाएंगे। इस निर्णय से भी स्पष्ट है कि आयोग अभी तक आरक्षित वर्ग के अभ्यर्थियों को एक से अधिक स्तर पर आरक्षण का लाभ देते हुए अंतिम चयन में ओवरलैप कर रहा था।
सपा ने किया विरोध, आज करेंगे प्रदर्शन
सपा ने आरक्षित वर्ग की चयन प्रक्रिया में लोक सेवा आयोग की ओर से किए गए बदलाव का विरोध किया है। सपा के एमएलसी वासुदेव यादव के नेतृत्व में 10 फरवरी को दिन में 11 बजे से इसके विरोध में आयोग दफ्तर के सामने प्रदर्शन किया जाएगा। एमएलसी एवं सपा नेता आयोग से इस निर्णय को वापस लेने की मांग करेंगे। इनका कहना है कि इस निर्णय से आरक्षित वर्ग के साथ ही अल्पसंख्यकों और आर्थिक तौर पर गरीब सवर्णों को नुकसान होगा। सपा के निवर्तमान महानगर अध्यक्ष सैयद मो. अस्करी का कहना है कि यह फैसला जाति-धर्म के आधार पर आरक्षित वर्ग के मेधावियों को प्रतियोगिता से वंचित करने वाला है।