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गोरखपुर : श्रमिकों के बच्चे भी पढ़ेंगे अंग्रेजी माध्यम के निजी विद्यालयों में -बीएसए

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गोरखपुर : श्रमिकों के बच्चे भी पढ़ेंगे अंग्रेजी माध्यम के निजी विद्यालयों में -बीएसए

गोरखपुर। कोरोना संकट की वजह से घर लौटे प्रवासी श्रमिकों के बच्चों को भी अब निजी विद्यालयों में मुफ्त प्रवेश का मौका मिलेगा। शासन के निर्देश पर बेसिक शिक्षा विभाग ने कार्रवाई शुरू कर दी है। शिक्षा का अधिकार (आरटीई) अधिनियम के तहत इच्छुक अभिभावकों को अपने बच्चों के ऑनलाइन प्रवेश के लिए आवेदन करना होगा। 10 जुुलाई तक ऑनलाइन आवेदन किया जा सकता है। 15 जुलाई को लॉटरी के जरिये आवेदकों को स्कूल का आवंटन होगा। जबकि 30 जुलाई तक चयनित अभ्यर्थियों को स्कूल में अपना प्रवेश लेना होगा।शासन के निर्देश के क्रम में बेसिक शिक्षा विभाग की तरफ से जारी आदेश में सभी खंड शिक्षाधिकारियों व नगर शिक्षा अधिकारी को आरटीई के तहत प्रवेश के लिए प्रवासी कामगारों को जागरूक करने का निर्देश दिया है।आदेश में कहा गया है कि आर्थिक रूप से कमजोर लोगों के बच्चों की शासन की मंशा के मुताबिक निजी स्कूलों में मुफ्त प्रवेश दिलाया जाता है। कोरोना महामारी की वजह कई प्रवासी मजदूर अपना रोजगार व बच्चों की पढ़ाई को छोड़कर घरों को वापस लौटे हैं। ऐसे में उनके बच्चे भी आरटीई के तहत प्रवेश के लिए आवेदन कर सकते हैं।इस संबंध में जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी भूपेन्‍द्र नारायण सिंह का कहना है कि कोरोना संकट में बाहर से जनपद आए प्रवासी श्रमिकों के बच्चों को जागरूक कर उन्हें शिक्षा का अधिकार अधिनियम के तहत निजी विद्यालयों में दाखिला दिलाया जाएगा। इससे जहां वह शिक्षा की मुख्यधारा में शामिल होंगे। वहीं उनका अच्छे स्कूलों में पढऩे का सपना साकार होगा।उल्‍लेखनीय है कि योगी सरकार प्रवासी कामगारों को रोजगार मुहैया कराने की दिशा में लगातार प्रयास कर रही है। धीरे-धीरे ही सही, पर प्रवासी कामगारों को रोजगार मिल रहा है। अब उनके बच्‍चों को अंग्रेजी माध्‍यम के स्‍कूलों में दाखिला कराने की व्‍यवस्‍था शुरू की गई है।

Posted By: टीम पूर्वांचल भारत

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