प्रयागराज : उत्तर प्रदेश राजर्षि टंडन मुक्त विश्वविद्यालय में योग का दाखिला लेकर रोजगार की संभावना तलाश रहे युवा
यूपीआरटी मुक्त विश्वविद्यालय में वर्ष 2017 में योग को पाठ्यक्रम में शामिल किया गया था। फिर तो आवेदन की संख्या भी बढ़ती ही गई
प्रयागराज, [गुरुदीप त्रिपाठी]। देश-विदेश में योग के प्रति बढ़ती जागरूकता के बीच अब युवा योग की पढ़ाई के लिए भी तेजी से आगे आ रहे हैं। वह योग के जरिये न सिर्फ रोग को मात देंगे बल्कि तमाम नई संभावनाएं भी तलाश रहे हैं। इसी का नतीजा है अनवरत योग में दाखिले का आंकड़ा बढ़ता ही जा रहा है। इसकी बानगी उत्तर प्रदेश राजर्षि टंडन मुक्त विश्वविद्यालय में देखने को मिल रही है।
मुविवि ने योग में डिग्री देने वाला सूबे का पहले संस्थान
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की पहल पर 21 जून को विश्व योग दिवस घोषित किया गया है। इसमें सेहत के साथ ही रोजगार की संभावनाएं भी हैं। यही वजह है कि योग के लिए डिप्लोमा के बाद युवाओं का रुझान डिग्री की तरफ भी बढऩे लगा है। मुक्त विश्वविद्यालय में वर्ष 2017 में जब योग को पाठ्यक्रम में शामिल किया गया तो आवेदन की संख्या भी बढ़ती ही गई। विश्वविद्यालय से विशेषज्ञता हासिल करने के बाद तमाम युवाओं ने रोजगार के दरवाजे खोल लिए। पिछले वर्ष मुविवि योग में डिग्री देने वाला सूबे का पहले संस्थान का तमगा हासिल किया।
कोर्स दाखिले की संख्या
2017-18 (जुलाई सत्र)
यूजी डिप्लोमा 3714
पीजी डिप्लोमा 7743
सर्टिफिकेट कोर्स 839
2017-18 (जनवरी सत्र)
यूजी डिप्लोमा 535
पीजी डिप्लोमा 1803
सर्टिफिकेट कोर्स 46
2018-19 (जुलाई सत्र)
यूजी डिप्लोमा 6640
पीजी डिप्लोमा 21824
सर्टिफिकेट कोर्स 141
2018-19 (जनवरी सत्र)
यूजी डिप्लोमा 835
पीजी डिप्लोमा 2980
सर्टिफिकेट कोर्स 12
2019-20
यूजी डिप्लोमा 1654
पीजी डिप्लोमा 7571
सर्टिफिकेट कोर्स 40
एमए 1336
बोले मुक्त विवि के कुलपति
उत्तर प्रदेश राजर्षि टंडन मुक्त विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. कामेश्वर नाथ सिंह कहते हैं कि योग से युवा अपनी सेहत सुधारने के साथ रोजगार के तमाम अवसर पैदा कर सकते हैं। मुक्त विश्वविद्यालय दूरस्थ शिक्षा पद्धति के माध्यम से लगातार समाज को शिक्षित और रोजगार देने का प्रयास कर रहा है। इसमें सफलता भी हासिल हो रही है।