गाजियाबाद : एबीएसए कार्यालय में 5 घंटे बंद रहे प्रधानाचार्य बहाली के लिए रिश्वत मांगने का आरोप, पेट्रोल भरी केन हाथ में लेकर दी आत्मदाह की चेतावनी
गाजियाबाद। कनौजा गांव के प्राथमिक विद्यालय के प्रधानाचार्य मनोज त्यागी ने बृहस्पतिवार को नेहरूनगर स्थित एबीएसए के कार्यालय खुद को बंद कर लिया। आरोप लगाया कि निलंबन का आदेश रद्द करने के लिए उनसे रिश्वत मांगी जा रही है।
पेट्रोल से भरी केन हाथ में लेकर उन्होंने आत्मदाह करने की चेतावनी दी। पांच घंटे तक शिक्षक ने कुंडी नहीं खोली और अंदर बंद रहे। इसके बाद अधिकारियों के हाथ-पैर फूल गए और तत्काल बहाल करने का आश्वासन देकर किसी तरह उनको बाहर निकाला। सुबह 10 बजे मनोज त्यागी कार्यालय पहुंचे तो वहां पर एवीएसए मौजूद नहीं थीं।
उन्होंने विभागीय अधिकारियों पर रिश्वत मांगने का आरोप लगाते हुए हंगामा किया। जब उनकी बात सुनने के लिए कोई नहीं पहुंचा तो 11:30 बजे हाथ में तेल की केन लेकर वह एबीएसए के कार्यालय में घुस गए और अंदर से कुंडी बंद कर ली। उन्होंने आत्मदाह करने की चेतावनी दी तो अधिकारियों के हाथ पैर फूल गए। मौके पर पुलिस भी पहुंच गई। शाम 4:30 बजे तक मनोज त्यागी अंदर ही बंद रहे। पांच घंटे बाद अधिकारियों ने किसी तरह उनको समझाकर बाहर निकाला।
मनोज त्यागी ने बताया कि रजापुर और मुरादनगर ब्लाक के 22 शिक्षकों की अधिकारियों ने वेतन वृद्धि रोक दी थी। इन शिक्षकों को एरियर भी नहीं दिया गया।
लेखाकार ने ली थी रिश्वत
मनोज कुमार त्यागी ने बताया कि 22 शिक्षकों की वेतन वृद्धि के नाम पर उनसे 2021 में तत्कालीन लेखाकार ने 4.30 लाख रुपये मांगे थे। उन्होंने उनको चेक से रिश्वत की धनराशि दी थी। इतना पैसा पैसा लेने के बाद भी 12 शिक्षकों की वेतन वृद्धि रोक दी गई और एरियर किसी का भी नहीं दिया। इसके लिए उनसे 6.66 लाख की मांग और की जा रही थी।
6 शिक्षक की बहाली हो चुकी है। रिश्वत मांगने की बात पूरी तरह गलत है। बहाली का आदेश पोर्टल पर भी अपलोड कर दिया गया है। शिक्षक को अब कोई शिकायत नहीं है। जहां तक पूर्व में लेखाकार के रिश्वत लेने का मामला है, वह मेरे से पहला है। इसकी भी जांच कराई जाएगी।
- ओपी यादव, बीएसए
आभार साभार-अमर उजाला