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उन्नाव : अध्ययन अवकाश बंद, अब चाहकर भी अधिकारी न बन सकेंगे गुरुजी

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उन्नाव : अध्ययन अवकाश बंद, अब चाहकर भी अधिकारी न बन सकेंगे गुरुजी


उन्नाव : योग्यता होने के बावजूद अब अधिकारी न बन पाने का मलाल उन गुरुजनों को होगा जो अपने ज्ञान की बदौलत विद्यार्थियों को अफसर बनने का मादा दे रहे हैं। जिला बेसिक शिक्षा विभाग के शिक्षकों के लिए अब तक अनुमन्य रहा अध्ययन अवकाश शासन ने चालू शैक्षिक सत्र में बंद कर दिया है। आदेश के मुताबिक बेसिक के शिक्षकों को अब एजूकेशन लीव नहीं मिलेगी। अब तक इसी लीव की बदौलत तमाम शिक्षक अपने मौजूदा दायित्व के निर्वहन से अधिकतम दो साल का अवैतनिक अवकाश लेकर अपनी प्रगति के लिए बड़ी प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर पीसीएस व राजपत्रित अधिकारी बनते रहे हैं। हालांकि

• शैक्षिक सत्र 2024-25 में शासन से बेसिक शिक्षकों के लिए जारी हुआ है आदेश

• बीते सत्र तक इन शिक्षकों को अनुमन्य था दो साल का अवैतनिक अध्ययन अवकाश

कब आया आदेश महानिदेशक स्कूल शिक्षा उत्तर प्रदेश शासन कंचन वर्मा द्वारा 30 सितंबर 2024 को जारी आदेश में उल्लेखित है कि राजकीय कार्मिकों को अध्ययन अवकाश दिए जाते हैं परिषदीय विद्यालय में कार्यरत कार्मिकों को अध्ययन अवकाश अनुमन्य नहीं है।

शासन के इस आदेश के बाद योग्य से शिक्षकों में निराशा है। अंतरराष्ट्रीय ख्याति प्राप्त शोधार्थी अक्षय नहीं कर पाएंगे पीएचडी सुमेरपुर विकासखंड के कंपोजिट विद्यालय मुनऊ खेड़ा के विज्ञान शिक्षक अक्षय कटियार जैव प्रौद्योगिकी विषय में परास्नातक हैं। इन्होंने राष्ट्रीय पात्रता परीक्षा (नेट) एवं ग्रेजुएट एप्टीट्यूड टेस्ट फार इंजीनियरिंग (गेट) उत्तीर्ण कर भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद पूसा कैंपस नई दिल्ली में सीनियर रिसर्च फेलो के तौर पर लगभग छह वर्ष कई पादप एवं जंतु विष्णु एवं फाइटोप्लाजमा पर शोधकर्ता के रूप में कार्य किया है। इन्होंने आलू विषाणु एम आइसोलेट की न सिर्फ भारत में पहली बार आणविक स्तर पर रिपोर्ट किया। इनके राष्ट्रीय एवं अंतरराष्ट्रीय शोध पत्र स्विट्जरलैंड प्रकाशित शोध पत्रिका फ्रंटियर इन माइक्रोबायोलाजी में भी प्रकाशित हुए हैं। इनका चयन मैक्स्ट फैलोशिप प्रतियोगिता में पीएचडी कार्यक्रम के लिए जापान की इहीम यूनिवर्सिटी में हुआ था। बेसिक शिक्षा विभाग में आने के पश्चात अपना शोध कार्य भी जारी रखना चाहते थे किंतु अब अध्ययन अवकाश उपलब्ध न होने के कारण वह पीएचडी नहीं कर सकते हैं। 

विशाल कैसे करेंगे पीसीएस मेंस की तैयारी: विशाल शर्मा बेसिक शिक्षा विभाग में विकासखंड हसनगंज के कंपोजिट विद्यालय कुरौली सहायक अध्यापक हैं। इन्होंने आधुनिक इतिहास विषय में स्नातकोत्तर परीक्षा उत्तीर्ण कर पीसीएस परीक्षा में 2013, 2014 और 2015 में प्रिलिमनरी परीक्षा उत्तीर्ण की। पीसीएस की मेंस परीक्षा की तैयारी जारी है। विशाल का कहना है कि यदि अध्ययन अवकाश की सुविधा बेसिक शिक्षा विभाग में मिलती तो बेहतर परिणाम लाएंगे।

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